Sandarbh - Issue 141 (July-August 2022)
मनुष्य की उत्त्पत्ति: भाग 1 – सत्यजित रथ [Hindi, PDF]
एक मनुष्य होने के नाते हमारी अस्मिता क्या है? मनुष्य और मनुष्य-जैसी प्रजातियों के बीच क्या नाता रहा है? सबसे शुद्ध मनुष्य कौन हुआ, जब हम सभी के पूर्वज एक ही हैं? आज विज्ञान की मदद से, हम अपने और हज़ारों वर्ष पहले की मनुष्य प्रजातियों के जीवाश्मों के डीएनए पढ़कर न सिर्फ अपने प्रागैतिहास की समझ को गहरा कर रहे हैं, बल्कि ऐसे कई सबूत भी पा रहे हैं जो आज मनुष्यों के बीच नस्लीय गैर-बराबरी की दलील को खण्डित करते हैं। 2019 में एकलव्य द्वारा आयोजित एक सार्वजनिक व्याख्यान में ऐसे ही कुछ विषयों पर चर्चा हुई। उक्त लेख में आइए पढ़ते हैं, इस चर्चा के पहले भाग को और इस विषय में अपनी समझ को और पुख्ता बनाते हैं।
मकड़ियों का अद्भुत संसार: पुस्तक चर्चा – किशोर पंवार [Hindi, PDF]
विपुल कीर्ति शर्मा द्वारा लिखित व एनबीटी द्वारा प्रकाशित किताब मकड़ियों का अद्भुत संसार की समीक्षा।
समूहवासी, सामाजिक और बस्तीवासी मकड़ियाँ – विपुल कीर्ति शर्मा [Hindi, PDF]
यद्यपि अधिकांश मकड़ियाँ अकेले रहती हैं और अपनी प्रजाति के अन्य सदस्यों के प्रति आक्रामक होती हैं, लेकिन कुछ मकड़ियाँ सामाजिकता के विभिन्न स्तरों का प्रदर्शन करती हैं। कुछ प्रजातियाँ समूहों में रहने की प्रवृत्ति दिखाती हैं, जिन्हें अक्सर कॉलोनियों के रूप में जाना जाता है। मकड़ियों में समूह जीवन, सामाजिक व्यवहार और प्रजनन कई बार विकसित हुआ है, हालाँकि बहुत कम मकड़ी प्रजातियाँ ही समूहों में स्थायी रूप से रहती हैं और अन्य मकड़ी के बच्चों का पालन-पोषण भी करती हैं। आइए, उक्त लेख के साथ पढ़ते हैं इनका संक्षिप्त विवरण।
पानी की जाँच - कालू राम शर्मा [Hindi, PDF]
कालू राम शर्मा की किताब खोजबीन का आनंद होशंगाबाद विज्ञान शिक्षण कार्यक्रम के विभिन्न पहलुओं का लेखा-जोखा है जिसे कहानी या किस्सागोई शैली में लिखा गया है। आइए, पढ़ते हैं इस पुस्तक के सातवें अंश को इस लेख के साथ जिसमें बच्चों ने पानी के बारे में विस्तृत जानकारी हासिल की।
सहजता को ढाँचे में बाँधना: सीखने में विरोधाभास? - राधा गोपालन [Hindi, PDF]
स्वतःस्फूर्त खोजबीन में अर्थपूर्ण सीखना काफी सरल प्रतीत हो सकता है। लेकिन क्या ढाँचाबद्ध स्थानों में भी इस तरह का अचम्भा और जिज्ञासा जगा पाना सम्भव है? क्या इन दोनों के बीच सेतु बनाना सम्भव हो सकता है? हम सीखने के ऐसे सत्रों की रचना कैसे करें कि विद्यार्थियों को वैज्ञानिक अवधारणाओं की स्वतःस्फूर्त समझ विकसित करने में मदद मिले? आइए, पढ़ते हैं इस लेख के माध्यम से।
पृथ्वी के विगत जलवायु के बारे में आप जो कुछ भी... - रेचल ई. ग्रोस्स [Hindi, PDF]
हमारी धरती एक अद्भुत कहानीकार है। हालाँकि, इसके पास अपनी जलवायु की कहानी बताने के लिए शब्द नहीं हैं, फिर भी पृथ्वी ने डायरियाँ रखी हैं। ये डायरियाँ हमें लाखों साल पहले की पृथ्वी पर जलवायु परिस्थितियों का लेखा-जोखा बताती हैं। इनका उपयोग करके, हमारे वैज्ञानिक ऐसे मॉडल बनाने में सक्षम हुए हैं, जो एक पोर्टल के रूप में कार्य करते हैं, और हमें अतीत को देखने और साथ ही, हमारे ग्रह के भविष्य की भविष्यवाणी करने में मदद करते हैं। आइए, हमारी पृथ्वी की डायरी के कुछ पन्नों पर एक नज़र डालते हैं, और जलवायु मॉडल के बारे में थोड़ा और जानते हैं।
पढ़ना सिखाने की गाड़ी एक ही पहिये पर चलाना – मीनू पालीवाल [Hindi, PDF]
शिक्षा सिर्फ बौद्धिक दक्षताओं के विकास के लिए ही नहीं, बल्कि मानव के समग्र विकास का उद्देश्य भी रखती है। शिक्षकों में इसकी स्पष्टता का आभाव है कि किस प्रकार का सीखना आवश्यक है और वे कौन-से मापदाण्ड हैं जिनसे इसे मापा जा सकता है। इस लेख में पढ़ते हैं कि कैसे सीखने के प्रतिफलों और उनसे जुड़ी गतिविधियों की मदद से सीखने-समझने की प्रक्रिया को सरल बना सकते हैं।
अभियान टाइटन: भाग 1 - सतीश बलराम अग्निहोत्री [Hindi, PDF]
वैज्ञानिक उत्सुकता को जागृत करती कहानी जो पाठक को सौर मण्डल को नए दृष्टीकोण से देखने के लिए प्रेरित करेगी। यह कहानी एक मज़ेदार वैज्ञानिक कल्पना को दर्शाती है। आइए, पढ़ते हैं इस कहानी के पहले भाग को।
काँच कैसे बनता है? – सवालीराम [Hindi, PDF]
इस बार के सवालीराम के साथ पढ़ते-समझते हैं कि काँच का निर्माण कैसे होता है और उसे मज़बूत बनाने के लिए क्या किया जाता है।